आईएपीएम की नई राष्ट्रीय कार्यकारिणी घोषित हुई: डा. दीनदयाल मित्तल बने राष्ट्रीय महासचिव – 9 प्रदेश संयोजकों की भी हुई घोषणा

डा. डी. डी. मित्तल को राष्ट्रीय महासचिव, नरेंद्र शर्मा ( हरियाणा ), महेश कुमार शर्मा (उ.प्र.) व सी. पी. सिंह को राष्ट्रीय सचिव बनाया गया है। कोषाध्यक्ष की जिम्मेदारी प्रमोद कुमार सौंपी गई है।

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दिल्ली: इंडियन एसोसिएशन ऑफ प्रेस-एन-मीडियामैन (आईएपीएम) की राष्ट्रीय कार्यकारिणी (गवर्निंग बॉडी) के गठन सहित प्रदेश संयोजकों की नए सिरे से नियुक्ति की घोषणा की गई। एसोसिएशन की नई राष्ट्रीय कार्यकारिणी की घोषणा का पत्र दिल्ली स्थित केन्दीय कार्यालय द्वारा जारी किया गया जिसमें 9 प्रदेश संयोजकों/अध्यक्षों के नाम भी घोषित किये गये।
एसोसिएशन की नवगठित कार्यकारिणी में आईएपीएम के राष्ट्रीय अध्यक्ष वरिष्ठ पत्रकार पवन सहयोगी सहित अर्जुन जैन व पवन नवरत्न राष्ट्रीय उपाध्यक्ष बने।

डा. डी. डी. मित्तल को राष्ट्रीय महासचिव, नरेंद्र शर्मा ( हरियाणा ), महेश कुमार शर्मा (उ.प्र.) व सी. पी. सिंह को राष्ट्रीय सचिव बनाया गया है। कोषाध्यक्ष की जिम्मेदारी प्रमोद कुमार सौंपी गई है। इसके अलावा जे. के. मिश्रा को (राष्ट्रीय कार्यकारिणी सदस्य व दिल्ली प्रदेश संयोजक ), राजेंद्र अग्रवाल को (राष्ट्रीय कार्यकारिणी सदस्य व महाराष्ट्र प्रदेश संयोजक ), अमिताभ कुमार अरुण को (राष्ट्रीय कार्यकारिणी सदस्य व बिहार/झारखंड प्रदेश संयोजक) , रवि खजूरिया को (राष्ट्रीय कार्यकारिणी सदस्य व जम्मू संयोजक ), अरविंद गोयल को (राष्ट्रीय कार्यकारिणी सदस्य व हिमाचल प्रदेश संयोजक ), महेश शर्मा को (राष्ट्रीय कार्यकारिणी सदस्य व दमन-दीव संयोजक ), राकेश अग्रवाल को (राष्ट्रीय कार्यकारिणी सदस्य व उत्तराखंड प्रदेश उपाध्यक्ष) की जिम्मेदारी सौंपी गई है। वहीं सुधीर गोयल को उत्तराखंड प्रदेश अध्यक्ष, नितिन वालिया को हरियाणा प्रदेश संयोजक व अजय शंकर को उत्तर प्रदेश संयोजक की जिम्मेदारी भी सौंपी गई।

आईएपीएम के राष्ट्रीय अध्यक्ष पवन सहयोगी ने बताया कि पत्रकारों के हितों के लिए बडी तेजी से कार्य किये जाने की आवश्यकता है। इसी उद्देश्य के दृष्टिगत विभिन्न प्रदेशों व राष्ट्रीय कायकारिणी को पुर्नगठित किया गया है। श्री सहयोगी ने बताया कि कोविड काल में बाद पत्रकारों व मीडिया जगत पर भी गहरा संकट आया है। अनेक पत्रकारों की नौकरियां चली गई और सैकड़ों प्रकाशन बन्द हो गये। पत्रकारों को अभी भी जीवन बीमा, स्वास्थ्य बीमा व भविष्य निधि जैसी आवश्यक सुविधाएं नहीं मिल पा रहीं है। एसोसिएशन ऐसे लोगों के आंकडे एकत्रित कर उनके हितों के संरक्षण के लिए कार्य करेगी।

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